tag:blogger.com,1999:blog-6032637659660002131.post37132913567921110..comments2024-03-22T11:42:48.109+05:30Comments on एकोऽहम्: राजा व्यापारी (तो) प्रजा भिखारीविष्णु बैरागीhttp://www.blogger.com/profile/07004437238267266555noreply@blogger.comBlogger3125tag:blogger.com,1999:blog-6032637659660002131.post-33360906822332131612011-01-05T09:04:28.800+05:302011-01-05T09:04:28.800+05:30आदरणीय विष्णु बैरागी जी
नमस्कार !
सार्थक प्रस्तुति...आदरणीय विष्णु बैरागी जी<br />नमस्कार !<br />सार्थक प्रस्तुति ।<br />आभार।संजय भास्कर https://www.blogger.com/profile/08195795661130888170noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6032637659660002131.post-30539196242588503562011-01-04T16:10:11.546+05:302011-01-04T16:10:11.546+05:30बहुत सुंदर चर्चा लगी आप की ओर हम सहमत हे जी पारस भ...बहुत सुंदर चर्चा लगी आप की ओर हम सहमत हे जी पारस भई की बातो से, धन्यवादराज भाटिय़ाhttps://www.blogger.com/profile/10550068457332160511noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6032637659660002131.post-76075479012719133672011-01-04T07:30:26.565+05:302011-01-04T07:30:26.565+05:30सच कहा आपने, यदि कोई समझे कि उसकी कारस्तानियाँ लोग...सच कहा आपने, यदि कोई समझे कि उसकी कारस्तानियाँ लोग जानते नहीं, तो वह महाभ्रम में है। ये पब्लिक है सब जानती है।प्रवीण पाण्डेयhttps://www.blogger.com/profile/10471375466909386690noreply@blogger.com