tag:blogger.com,1999:blog-6032637659660002131.post4041866131377748841..comments2024-03-22T11:42:48.109+05:30Comments on एकोऽहम्: अच्छी शुरुआत का आशावादविष्णु बैरागीhttp://www.blogger.com/profile/07004437238267266555noreply@blogger.comBlogger13125tag:blogger.com,1999:blog-6032637659660002131.post-82608673478619963932013-02-01T23:15:25.590+05:302013-02-01T23:15:25.590+05:30फेस बुक पर श्री रवि शर्मा, इन्दौर की टिप्पणी -
...फेस बुक पर श्री रवि शर्मा, इन्दौर की टिप्पणी -<br /><br />अपनी कमजोरी को हर कोई नेता स्वीकार नही कर सकता। इस माने मे राहुलजी ने अच्छी शुरुआत की है।विष्णु बैरागीhttps://www.blogger.com/profile/07004437238267266555noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6032637659660002131.post-10475297696783484162013-02-01T23:14:37.698+05:302013-02-01T23:14:37.698+05:30फेस बुक पर श्री भुवनेश दशोत्तर, भोपाल की टिप्पणी...फेस बुक पर श्री भुवनेश दशोत्तर, भोपाल की टिप्पणी -<br /><br />ऐसी आत्म स्वीकृति ही नया कर सकती है।विष्णु बैरागीhttps://www.blogger.com/profile/07004437238267266555noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6032637659660002131.post-72471543581938320962013-01-23T22:29:06.521+05:302013-01-23T22:29:06.521+05:30हम उम्मीद करें कि राहुल भैया काँग्रेस मे सकारात्मक...हम उम्मीद करें कि राहुल भैया काँग्रेस मे सकारात्मक बदलाव लाएँगे और कुछ कर दिखाएंगे । बशर्ते उनका भाषण किसी और ने तैयार न किया हो । Ravi Sharmahttps://www.blogger.com/profile/07075773362331619467noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6032637659660002131.post-70661159734383811072013-01-23T21:29:25.530+05:302013-01-23T21:29:25.530+05:30फेस बुक पर श्री सुरेशचन्द्रजी करमरकर, रतलाम की टि...फेस बुक पर श्री सुरेशचन्द्रजी करमरकर, रतलाम की टिप्पणी -<br /><br />राहलु ने कुछ आधारभूत गलतियॉं स्वीकार की हैं। उन्होंने युवाओं को लेकर भी अपनी चिन्ता जताई है जो राष्ट्र निर्माण में समुचित रूप से भागीदार नहीं हो सके हैं। राहुल चिन्तिततो लगे किन्तु पूर्णत: आश्वस्त नहीं लगे। उन्होंने इस बारे में कोई संकेत भी नहीं दिए।<br /><br />विष्णु बैरागीhttps://www.blogger.com/profile/07004437238267266555noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6032637659660002131.post-87923012213172267802013-01-23T13:34:23.547+05:302013-01-23T13:34:23.547+05:30कल "किसी" ने अपने भाषण मेँ कहा कि माँ रो...कल "किसी" ने अपने भाषण मेँ कहा कि माँ रोई!!!<br /><br />मैँ कहता हुँ कि इस देश में माँ तो होती ही रोने के लिए है। उन साढ़े तीन लाख किसानो की माँएं भी रोई ही होंगी जिन्होंने आत्महत्या की। सुदूर गांवों, छोटे कस्बों, जिलों में भूख, गरीबी, ठण्ड, अभाव और बिना इलाज़ के मरने वाले बच्चों की माँ भी रोती तो होंगी ही। गरीबी से तंग आ के जब पूरा का पूरा परिवार ही आत्महत्या कर लेता है तो उसमे तो माँ ही नहीं बचती है रोने के लिए। माँ को कहो की थोडा उन का भी रोना रो लें जिन जिन की माँ रोई;Anonymousnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6032637659660002131.post-31700532348237962362013-01-23T13:27:15.451+05:302013-01-23T13:27:15.451+05:30स्पष्ट और सच बोलने से अन्ततः लाभ होता है..स्पष्ट और सच बोलने से अन्ततः लाभ होता है..प्रवीण पाण्डेयhttps://www.blogger.com/profile/10471375466909386690noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6032637659660002131.post-10628676112635012802013-01-23T04:55:30.542+05:302013-01-23T04:55:30.542+05:30यह बहुत बडा संकट है। चाय से पहले और चाय से अधिक, क...यह बहुत बडा संकट है। चाय से पहले और चाय से अधिक, केतलियॉं गरम हो रही हैं। चाटुकारों से मुक्ति पाने के उपाय भी तलाशे जाने चाहिए।विष्णु बैरागीhttps://www.blogger.com/profile/07004437238267266555noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6032637659660002131.post-65481406095599274192013-01-22T22:25:58.912+05:302013-01-22T22:25:58.912+05:30 सचमुच जब तक हमारे नेता आत्ममुग्धता के दौर से बाहर... सचमुच जब तक हमारे नेता आत्ममुग्धता के दौर से बाहर नहीं आ जाते, देश का भला होने वाला नहीं है। चाटुकारों की लंबी कतार कहीं राहुल गाँधी को भी आत्ममुग्धता के अंधेरे में न धकेल दे, देश की सबसे बड़ी आशंका यही है।sourabh sharmahttps://www.blogger.com/profile/11437187263808603551noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6032637659660002131.post-37188415499043481642013-01-22T20:36:17.641+05:302013-01-22T20:36:17.641+05:30मानना पड़ेगा भाई साहब आपको और आपकी खबी का तो जवाब ...मानना पड़ेगा भाई साहब आपको और आपकी खबी का तो जवाब नहीं Ramakant Singhhttps://www.blogger.com/profile/06645825622839882435noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6032637659660002131.post-68463652422045679472013-01-22T11:42:41.408+05:302013-01-22T11:42:41.408+05:30यह तो और भी महत्वपूर्ण बात कह दी तुमने नीरज - आध...यह तो और भी महत्वपूर्ण बात कह दी तुमने नीरज - आधारभूत होने की सीमा तक जाती महत्वपूर्ण। अब तो ईश्वर से यही प्रार्थना है कि आत्म-स्वीकार का जो साहस और सद्बुध्दि ईश्वर ने राहुल को दी है, वही सद्बुध्दि तथा उससे भी अधिक साहस, अपने कहे को कर दिखाने के लिए दे। कठिनाई और विडम्बना यह है कि हमारे लगभग सारे राजनीतिक दल, पता नहीं क्यों, कॉंग्रेस की प्रतिलिपियॉं ही बन कर रह गए हैं। विष्णु बैरागीhttps://www.blogger.com/profile/07004437238267266555noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6032637659660002131.post-4180904062182196902013-01-22T11:29:25.729+05:302013-01-22T11:29:25.729+05:30ये तब और महत्वपूर्ण हो जाता है जब जरा सी पंहुच अथ...ये तब और महत्वपूर्ण हो जाता है जब जरा सी पंहुच अथवा सामर्थ्य (पॉवर) वालों को बौराते रोज ही देखते हैं ।Neeraj Rohillahttps://www.blogger.com/profile/09102995063546810043noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6032637659660002131.post-15187538447796962942013-01-22T11:24:26.091+05:302013-01-22T11:24:26.091+05:30इस ओर तो मेरा ध्यान नहीं गया। मैंने तो केवल एक बा...इस ओर तो मेरा ध्यान नहीं गया। मैंने तो केवल एक बात देखी कि किसी ने अपनी कमियॉं स्वीकार करने की शुरुआत की। यह किसने किया इससे अधिक महत्वपूर्ण यह है किसी ने तो यह किया। जाने-अनजाने, मैं इसे अच्छी शुरुआत मानता हूँ और कामना करता हूँ हमारे तमाम राजनेता आत्म-निरीक्षण, आत्म-परीक्षण, आत्म-शोधन से गुजरते हुए आत्मोन्नयन को लक्ष्य बनाऍं। विष्णु बैरागीhttps://www.blogger.com/profile/07004437238267266555noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6032637659660002131.post-19560754783324544432013-01-22T11:18:36.768+05:302013-01-22T11:18:36.768+05:30वर्तमान गांधी परिवार के सदस्यों (विशेषकर सोनिया औ...वर्तमान गांधी परिवार के सदस्यों (विशेषकर सोनिया और राहुल) को सार्वजनिक जीवन में मैंने अशिष्ट भाषा अथवा ओछी टिप्पणी का प्रयोग करते नहीं देखा ।<br />उनसे अनेक बातों पर असहमति है लेकिन इस बारे में उनकी तारीफ़ करनी पड़ेगी । Neeraj Rohillahttps://www.blogger.com/profile/09102995063546810043noreply@blogger.com